Jharkhand News: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने सोमवार को रांची के तुपुदाना OP की पूर्व प्रभारी मीरा सिंह के खिलाफ विशेष अदालत में चार्जशीट दायर की। इसमें रिश्वत की रकम को उनके पति के खाते में जमा कराने और करीबी कारोबारी मोहित नाथ शाहदेव के साथ मिलकर मैनेज करने का जिक्र किया गया है। ED ने इस मामले को रिश्वत की रकम की मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़ा पाया है।
ACB केस पर आधारित ECIR, मार्च में की गई थी छापेमारी
ईडी ने एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) द्वारा दर्ज रिश्वत मामले के आधार पर मीरा सिंह के खिलाफ पहले ECIR दर्ज की थी। साथ ही 21 मार्च 2024 को मीरा सिंह, लाल मोहित नाथ शाहदेव समेत अन्य के ठिकानों पर छापेमारी की गई थी। ED के आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, एजेंसी आयकर विभाग और राज्य सरकार से पीएमएलए की संबंधित धाराओं के तहत जल्द सूचना साझा करेगी, ताकि अन्य एजेंसियां कानून के मुताबिक कार्रवाई कर सकें।
खूंटी घूसखोरी मामले के बाद रांची में हुई पोस्टिंग
गौरतलब है कि खूंटी में घूसखोरी मामले में जमानत मिलने के बाद मीरा सिंह की पोस्टिंग रांची में की गई थी। तबादले के कुछ घंटों बाद ही उन्हें तुपुदाना OP का प्रभारी बना दिया गया था। छापेमारी के समय वे इसी पद पर तैनात थीं, लेकिन उसके बाद प्रशासनिक आधार पर उन्हें हटा दिया गया। ED की जांच में सामने आया है कि तुपुदाना में रहते हुए मीरा सिंह ने रांची में अवैध बालू कारोबार को संरक्षण प्रदान किया था।
पूछताछ में नहीं दे पाईं स्पष्ट जवाब, मोहित नाथ के यहां मिला 12 लाख कैश
ED की जांच में पाया गया कि मीरा सिंह ने पूछताछ के दौरान बताया कि उनके पति का ग्रोसरी का कारोबार है, लेकिन आरोपी रकम के बारे में कोई स्पष्ट जानकारी नहीं दे सकीं। वहीं, उनके करीबी मोहित नाथ शाहदेव के यहां छापेमारी में 12 लाख से अधिक कैश बरामद हुआ था। ED ने कोर्ट को बताया कि मोहित नाथ ने इस रकम को मिठाई कारोबार से हुई आमदनी का हिस्सा बताया, लेकिन इससे जुड़े कोई साक्ष्य पेश नहीं कर सके। ऐसे में साफ है कि मीरा सिंह रिश्वत की रकम को पति और मोहित नाथ के जरिए खपा रही थीं।